CTET Level -2 (09 June 2024)
Question 1:
निर्देश : निम्नलिखित काव्यांश को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों के सही/सबसे उपयुक्त उत्तर वाले विकल्प को चुनिए ।
बहुत दिनों से सोच रहा था, थोड़ी धरती पाऊँ
उस धरती में बाग बगीचा, जो हो सके लगाऊँ ।
खिलें फूल - फल, चिड़ियाँ बोलें, प्यारी खुशबू डोले,
ताजी हवा जलाशय में अपना हर अंग भिगो ले। हो सकता है पास तुम्हारे, अपनी कुछ धरती हो
फूल - फल लदे अपने उपवन हों, अपनी परती धरती हो ।
हो सकता है छोटी-सी क्यारी हो, महक रही हो
छोटी-सी खेती हो जो फसलों से दहक रही हों
'परती' धरती से आशय है ऐसी जमीन
Question 2:
In the Direct method, teachers are:
Question 3:
अधोलिखितं गद्यांशं पठित्वा प्रश्नानां विकल्पात्मकोत्तरेभ्यः उचिततमम् उत्तरं चित्वा लिखत-
एकः धार्मिकः सत्सङ्गानुरागी राजा आसीत् । सः दूर- दूरात् सांधून् महात्मनः आहूय तेभ्यः ज्ञानोपदेशं शृणोति तानि धनादि-प्रदानेन सम्मानयति स्म ।
एकदा एकः महात्मा ततः दान दक्षिणाम् आदाय परावर्तमानः कैश्चित् दस्युभिः दृष्टिः । ते दस्यवः तस्य साधोः हस्तौ कर्तयित्वा दान-दक्षिणाम् अच्छिद्य च पलायितवन्तः।
कतिपय मासान्तरं सः एव महात्मा राज्ञा पुनरपि भगवच्चर्चायै आहूतः । अस्मिन् वारे दस्तवः अति साधु- वेषं धृत्वा तस्मिन् राजकीये सत्सङ्गे समुपस्थिताः । तान् दृष्ट्वा कृत्त - हस्तः महात्मा राजानं कथितवान् "महाराज! इमे साधवः मम ज्ञानिनः सुहृदः सन्ति । इमे अवश्यं सम्माननीयाः । " राजा तान् अपूजयतु, एकां बृहत धन-पेटिकां च तेषाम् आवासे प्रापयितुं स्वकीयम् एकं कर्मचारिणं प्रेषितवान् ।
मार्गे कर्मचारी तान् साधून् अपृच्छत् - "कथ्यताम् महात्मा कथं जनाति? कथम् असौ भवद्भ्यः इदं धनम् अदापयत् ?'' साधवः उदतरन् -" सः मृत्युमुखे आसीत्। वयम् एव तं मृत्योः अमोचयाम । हस्तौ एक तस्य कर्त्तितौ अभवताम् । अतः एव उपकारकान् अस्मान् सः महाराजेन सममानयत्। "
पृथ्वी माता तेषाम् इमां निराधार वार्त्ता न असहत । सा व्यदीर्यत । तत्र एवं ते व्यलीयन्त । विस्मितः कर्मचारी राजानम् उपगत्य सर्वां घटनाम् अश्रावयत् । कृत्त- हस्तः महात्मा अपि तदा तत्र एव आसीत् । सः अपि तैः साधुभिः सह दुर्घटितां घटनाम् आकर्ण्य अतीव दुःखितः अभवत्, उच्चैः उच्चैः रोदितुं प्रावर्त्तत च ।
किन्तु आश्चर्यं ! महत् आश्चर्यम् !! तदा एवं सः महात्मा पुनः उत्पन्न - हस्तः अजायत । राजा तद् एतद् दृष्ट्वा रहस्यम् एतस्य कथयितुं महात्मानं प्रार्थितवान् । महात्मा अकथयत्- "राजन् ! सत्यम् एव ते साधवः मम सुहृदः सन्ति । भवद्भ्यः धन-ग्रहीतारौ हस्तौ छित्वा ते माम् उपकृतवन्तः एव । किन्तु भगवत्कृपया तो पुनर् अपिंत उत्पन्नौ । भम एव कारणने ते पृथिव्यां व्यलीयन्त । मम एव कारणेन तेषां सुहृदां वियोगेन अहम् इदानीं भृशं दुःखी सञ्चातः विलयामि च " इति ।
गद्यांशे क्त्वाप्रत्ययान्तं पदं किम् ?
Question 4:
In order to bring forth the previous knowledge of students regarding a particular topic, which of the following strategy is most appropriate?
विषय विशेष से संबंधित विद्यार्थियों के पूर्वज्ञान को सामने लाने के लिए, निम्नलिखित में से कौन सी रणनीति अति उपयुक्त है?
Question 5:
If lengths of two sides of a triagle are 5 cm and 9 cm, then the length of the third side of the triangle:
यदि किसी त्रिभुज की दो भुजाओं की लंबाइयाँ 5 cm और 9 cm हैं, तो इस त्रिभुज की तीसरी भुजा की लंबाई:
Question 6:
Which of the following statement is not a characteristic of a democratic classroom?
निम्न में से कौन - सा कथन लोकतांत्रिक कक्षाकक्ष की विशेषता नहीं हैं?
Question 7:
While teaching about historical sources, which of the following questions are relevant for discussion in the class?
(A) Who wrote a specific text ?
(B) When was the inscription done ?
(C) Was there any objective for making the painting ?
ऐतिहासिक स्त्रोतों के बारे में पढ़ाते समय, निम्नलिखित में से कौन से प्रश्न कक्षा में परिचर्चा के लिए प्रासंगिक है ?
(A) किसने विशिष्ट लेख लिखा ?
(B) अभिलेख कब किया गया ?
(C) क्या चित्र बनाने का काई उद्देश्य था ?
Option / विकल्प :
Question 8:
Directions: Read the passage given below and answer the questions that follow by selecting the correct/most appropriate option.
1. A majority of people think that their dream job is too hard to achieve, too competitive and believe that it is all a matter of luck. All this is true actually, but why should that stop anyone from trying to get the job they really want? A really determined person will always succeed and, in many ways, will need other people to give up trying so that he can succeed.
2. Many job seekers feel limited by the choices they made at college. They may think that because they studied marketing, all they can ever do is work in marketing. All the evidence shows that, in fact, employers are less interested in acquired knowledge than the ability to think and learn. It is also very difficult to predict the needs of society. For example, if a person I chose to study dentistry because there was a lack of dentists when he was in high school, that may not be the case when he graduates. The needs of employers and the economy can change very very quickly, and often unexpectedly.
3. Of course, if it is a very tough time economically, it is hard to find employment straight after university, but it is by no means impossible. It might take several months longer to find a job after graduating, but there is work out there. A really key piece of advice is never to get downhearted by rejection because there will probably be a lot you can do to achieve your dream job, whatever it is. You must never give up. Be prepared to work hard and for long hours without necessarily climbing up the career ladder. There is a lot to be said for learning your trade from the bottom up. At the start, there will probably be little money, but it will be worth it in the end. The best jobs are not supposed to be easy – that is what makes them challenging. And if you like a challenge, just keep your head down and go for it.
Complete the word analogy :
Expectedly : unexpectedly :: rejection : ?
Question 9:
How is learning looked at in a socio- constructivist perspective?
सामाजिक- रचनात्मक परिप्रेक्ष्य में सीखने को किस प्रकार देखा जाता है?
Question 10:
By which one of the following Act did the British provide 'Provincial Autonomy' to Indians ?
निम्नलिखित में से कौन से कानून द्वारा ब्रिटिशों ने भारतीयों की 'प्रांतीय स्वायत्तता' दी?